Dehradun: स्वच्छ भारत मिशन के तहत आयोजित स्वच्छ सर्वेक्षण 2024-25 की रिपोर्ट में नैनीताल जनपद की लालकुआं नगर पंचायत ने एक बार फिर उत्तराखंड में प्रथम स्थान प्राप्त कर राज्य का मान बढ़ाया है। 20 हजार से कम आबादी वाले शहरों की श्रेणी में लालकुआं को देशभर में पहला स्थान प्राप्त हुआ है। यह तीसरी बार है जब लालकुआं नगर पंचायत को राष्ट्रीय स्तर पर स्वच्छता के लिए पुरस्कार मिला है—पहले 2007, फिर 2024 और अब 2025 में।
नई दिल्ली स्थित विज्ञान भवन में गुरुवार को आयोजित पुरस्कार समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की उपस्थिति में लालकुआं को सम्मानित किया गया। केंद्रीय शहरी विकास मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने नगर पंचायत अध्यक्ष सुरेंद्र सिंह लोटनी और अधिशासी अधिकारी राहुल कुमार सिंह को ट्रॉफी प्रदान की।
नगर पंचायत के अधिशासी अधिकारी राहुल कुमार सिंह ने बताया कि यह उपलब्धि स्थानीय नागरिकों, कर्मचारियों और जनप्रतिनिधियों के सामूहिक प्रयास का परिणाम है। शहर में डोर-टू-डोर कूड़ा संग्रहण, सुबह-शाम सफाई व्यवस्था, अत्याधुनिक रीसाइकलिंग प्लांट, जलभराव रोकने के लिए वॉटर हार्वेस्टिंग और भूमिगत जलस्तर बढ़ाने की पहल की गई है। साथ ही स्ट्रीट लाइट व्यवस्था भी दुरुस्त की गई है।
नगर पंचायत के स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर बीसी भट्ट ने बताया कि शहर में समय-समय पर जागरूकता अभियान चलाए जाते हैं, और नागरिकों की सहभागिता स्वच्छता में अहम भूमिका निभा रही है।
राष्ट्रीय स्तर पर इस वर्ष भी इंदौर सबसे स्वच्छ शहर घोषित हुआ है, जबकि छत्तीसगढ़ का अंबिकापुर दूसरे और कर्नाटक का मैसूर तीसरे स्थान पर रहा। वहीं, 10 लाख से अधिक आबादी वाले शहरों की श्रेणी में गुजरात का अहमदाबाद सबसे स्वच्छ शहर बना।
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Chief Editor, Aaj Khabar