Chamoli: उत्तराखंड के चमोली जिले के जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने एक सादगीपूर्ण विवाह कर समाज के सामने एक मिसाल पेश की है। जहां आजकल शादियों में तड़क-भड़क और दिखावे की होड़ मची है, वहीं एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी ने कोर्ट मैरिज और मंदिर में आशीर्वाद लेकर जीवन साथी संग नया अध्याय शुरू किया।
डीएम संदीप तिवारी और हल्द्वानी निवासी डॉक्टर पूजा डालाकोटी की शादी इन दिनों राज्य में चर्चा का विषय बनी हुई है। दोनों ने 28 अप्रैल को कोर्ट मैरिज की, जिसके बाद वे चमोली जिला मुख्यालय गोपेश्वर स्थित प्राचीन गोपीनाथ मंदिर पहुंचे और वहां भगवान से आशीर्वाद लिया। इस मौके पर न तो कोई भव्य समारोह था और न ही कोई बड़ा आयोजन — बस एक सादगी भरी और गरिमामयी शुरुआत।
डीएम संदीप तिवारी ने बताया कि वे हिमाचल प्रदेश के पारंपरिक रीति-रिवाजों से प्रेरित हुए और उसी भावना से मंदिर में विवाह का निर्णय लिया। उन्होंने अपनी पत्नी पूजा से इस बारे में चर्चा की और दोनों की सहमति से कोर्ट मैरिज और मंदिर में आशीर्वाद लेने का निर्णय लिया गया।
डॉक्टर पूजा डालाकोटी ने भी इस फैसले को सहज स्वीकार करते हुए कहा, “शादी केवल दो व्यक्तियों का नहीं, बल्कि दो विचारों और दो परिवारों का मिलन होती है। इसलिए हमने इसे एक सरल और आध्यात्मिक रूप देने का निश्चय किया।”
सोशल मीडिया पर यह विवाह सराहना का विषय बना हुआ है। आम जनमानस खास तौर पर युवा वर्ग इस सादगीपूर्ण विवाह से प्रेरणा ले रहा है।
आईएएस संदीप तिवारी का प्रशासनिक सफर
संदीप तिवारी 2017 बैच के आईएएस अधिकारी हैं और वर्तमान में चमोली जिले के जिलाधिकारी के रूप में कार्यरत हैं। वे मूल रूप से हिमाचल प्रदेश के शिमला शहर के निवासी हैं। उत्तराखंड में प्रशासनिक सेवा के 6 वर्षों में उन्होंने एसडीएम, नैनीताल में सीडीओ और कुमाऊं मंडल विकास निगम के एमडी जैसे महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया है। 7 सितंबर 2024 को उन्होंने चमोली के डीएम का कार्यभार संभाला था।
डॉ. पूजा डालाकोटी, जो अब उनकी पत्नी हैं, चिकित्सा क्षेत्र से जुड़ी हैं और हल्द्वानी की रहने वाली हैं।
इस विवाह ने प्रशासनिक क्षेत्र के साथ-साथ आम जनता को यह संदेश दिया है कि शादी का असली सार रिश्तों और मूल्यों में निहित होता है, न कि भव्यता और खर्च में।
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Chief Editor, Aaj Khabar